भारत सरकार ने, देश में रक्षा निर्माण क्षेत्र में आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने के लिए, कोरवा, अमेठी में पांच लाख से अधिक AK-203 असॉल्ट राइफलों के उत्पादन की योजना को मंजूरी दी है। यह डील 5,124 करोड़ रुपये की है।
भारत सरकार ने, देश में रक्षा निर्माण क्षेत्र में आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने के लिए, कोरवा, अमेठी में पांच लाख से अधिक AK-203 असॉल्ट राइफलों के उत्पादन की योजना को मंजूरी दी है। यह डील 5,124 करोड़ रुपये की है। इस परियोजना को इंडो-रूसी राइफल्स प्राइवेट लिमिटेड (आईआरआरपीएल) नामक एक विशेष उद्देश्य संयुक्त उद्यम द्वारा कार्यान्वित किया जाएगा।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और रूसी रक्षा मंत्री जनरल सर्गेई शोइगु ने भारत और रूस के बीच समझौतों पर हस्ताक्षर किए। भारत और रूस के बीच भारत-रूस राइफल्स प्राइवेट लिमिटेड के माध्यम से 6,01,427 7.63×39 मिमी असॉल्ट राइफल्स AK-203 की खरीद के लिए अनुबंध, 2021-2031 से सैन्य-तकनीकी सहयोग कार्यक्रम के लिए समझौते पर हस्ताक्षर हुए हैं।
इसके साथ ही दोनों देशों के बीच कलाश्निकोव सिरीज के छोटे हथियारों के निर्माण के क्षेत्र में सहयोग पर समझौते में संशोधन पर प्रोटोकॉल दस्तखत हुए। दोनों नेता आज दिल्ली में भारत और रूस के बीच पहले 2+2 मंत्रिस्तरीय संवाद में भाग लिये ।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के साथ भारत के विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर भी साथ रहे। ज्ञात हो कि यह भारत और रूस के बीच यह पहली बार 2+2 अंतर-मंत्रालयी वार्ता थी।
भारत-रूस 2+2 अंतर-मंत्रालयी वार्ता के दौरान रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत-रूस रक्षा कार्यकलापों में हाल के दिनों में अभूतपूर्व तरीके से प्रगति हुई है। हमें उम्मीद है कि रूस इन चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में भारत के लिए एक प्रमुख भागीदार बना रहेगा। उन्होंने आगे कहा कि भारत-रूस रक्षा कार्यकलापों में हाल के दिनों में अभूतपूर्व तरीके से प्रगति हुई है।
हमें उम्मीद है कि रूस इन चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में भारत के लिए एक प्रमुख भागीदार बना रहेगा। सिंह ने कहा, ‘रक्षा सहयोग हमारी साझेदारी के सबसे महत्वपूर्ण स्तंभों में से एक है। मुझे उम्मीद है कि भारत-रूस साझेदारी पूरे क्षेत्र में शांति लाएगी और क्षेत्र को स्थिरता प्रदान करेगी।’
वहीं, आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच भी शिखर वार्ता होगी, जिसमें रक्षा, व्यापार और निवेश, ऊर्जा और तकनीक के अहम क्षेत्रों में सहयोग मजबूत करने के लिए कई समझौतों पर मुहर लगने की संभावना है।