डेल्टा वैरिएंट की तुलना में पांच गुना ज्यादा संक्रामक है ओमिक्रोन वैरिएंट, कैसे पहचाने नए वैरिएंट ओमिक्रॉन का लक्षण ?

दक्षिण अफ्रीका में हाल ही में पहली बार मिले कोरोनावायरस के ओमीक्रॉन वेरिएंट को विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने ‘वेरिएंट ऑफ कंसर्न’ यानी कि चिंता वाला वेरिएंट करार दिया है। WHO ने शुक्रवार को कहा कि ओमीक्रॉन सबसे पहले 24 नवंबर को दक्षिण अफ्रीका में मिला।

इसे 9 नवंबर को एक नमूने से इकट्ठा किया गया था। भारत में कोरोना वायरस के नए वैरिएंट ओमिक्रोन (Coronavirus Omicron Variant) के दो मामले कर्नाटक में सामने आए हैं, इसके बाद से नए स्ट्रेन को लेकर चिंताएं लगातार बढ़ती जा रही है। डॉक्टरों का मानना है कि ओमिक्रोन वैरिएंट कोरोना के डेल्टा वैरिएंट से ज्यादा संक्रामक है।

कई देश ओमीक्रॉन वेरिएंट को फैलने से रोकने के लिए जी-जान लगा रहे हैं। कई मुल्कों ने दक्षिण अफ्रीकी देशों से उड़ानों पर प्रतिबंध लगा दिया है। इस नए वेरिएंट की वजह से शेयर बाजार और तेल की कीमतों में भी बदलाव देखने को मिला है। इसकी वजह से वैश्विक आर्थिक सुधार को भारी झटका लगने की संभावना भी है।

हालांकि यह अभी तक स्पष्ट नहीं हो पाया है नया वैरिएंट कितना घातक है और दुनियाभार में वैज्ञानिकों व डब्ल्यूएचओ की टीम रिसर्च में जुटी हुई है। रिसर्च के बाद कोविड-19 के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन के लक्षण (Omicron Variant Symptoms) और अन्य चीजों को लेकर स्थिति साफ होगी।

डॉ. कोएट्जी वही डॉक्टर हैं जिन्होंने सबसे पहले Omicron वैरिएंट की पहचान की थी। वो सरकार की वैक्सीन पर बनी एडवाइजरी कमेटी में भी शामिल हैं। उन्होंने बताया कि अभी जो मरीज आ रहे हैं, उनमें बहुत ही हल्के लक्षण हैं और उन्हें अस्पताल में भर्ती करने की जरूरत नहीं है। ऐसे मरीजों का घर पर ही इलाज किया जा सकता है।

उन्होंने ये भी बताया कि Delta वैरिएंट के उलट Omicron से संक्रमित मरीज की स्मेल और टेस्ट भी नहीं गया और न ही उनका ऑक्सीजन लेवल ही निचे गिरा। उन्होंने बताया कि उनके पास अभी तक जो मरीज आए हैं, उनमें से ज्यादातर 40 साल या उससे ज्यादा उम्र के थे।

इनमें से आधे मरीज ऐसे थे जिन्हें वैक्सीन भी नहीं लगी थी। इस वैरिएंट से संक्रमित मरीज को एक या दो दिन बहुत ज्यादा थकान रहती है। उन्हें सिरदर्द, बदन दर्द जैसी समस्या आती है। इसके अलावा कुछ मरीजों में कमजोरी की भी शिकायत सामने आई है।

Share It